Wednesday 25 January 2023

गणतंत्र

संस्कृति और धरोहर की
धनी हमारी भूमि

विविधता में एकता की 
धनी हमारी भूमि

जहाँ कण कण में समाया 
जन जन का तंत्र है

वो विश्व का 
सबसे बडा़ गणतंत्र है

निश्चल भाव से
खुद को ज्वलंत करे

भाव सभी के
मन को पहचाने

रुके बिना झुके बिना
नित नित सिर्फ आगे बढ़ना

यही तो गणतंत्र मेरा
भारत का जनतंत्र मेरा

छवि जो आसमान से ऊंचे
निश्छल सेवा मनोहर लागे

जोड़ने में रखता सदा समान
भारत का गणतंत्र महान

आदर करते सम्मान देते
सभी सही फैसले देते

मिटाता यह भेदभाव सभी
टकराव भी तकरार भी

नाज है हमें गणतंत्र पर
शान है हमारी जनतंत्र पर

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